काजू,पिस्ता और बादाम के धुएं से गंभीर बीमारियों का इलाज….
बाराबंकी : एक तरफ जहां धुआं लोगों में कई तरह की एलर्जी और बीमारियों को बढ़ाता है। वहीं बाराबंकी जिले में एक ऐसी जगह भी है, जहां लोग अपना इलाज धुएं से करा रहे हैं। यह आस्था है या फिर अंधविश्वास, लेकिन हर पूर्णिमा पर यहां हजारों लोग दूर-दूर से जुटते हैं। इस मंदिर में हर पुर्णिमा के दौरान हजारों श्रद्धालुओं की भीड़ जुटती है। लोग यहां दूर दराज से आकर अपनी बीमारियों का इलाज धुवें से कराते हैं। यहां काजू, बादाम, पिस्ता, गरी, मुनक्के, किशमिश, अखरोट, दालचीनी, बादाम और तमाम तरह के मेवे से एक विशेष हवन यज्ञ होता है। मंदिर से जुड़े लोगों का दावा है कि भारत में ऐसा हवन यज्ञ और कहीं नही होता।
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मंदिर से जुड़े लोग बताते हैं कि यहां श्रद्धालुओं की आस्था हैं कि खेतों में पैदा हुई पहली फसल लोग बाबा मस्तराम को चढ़ाते हैं। इससे उनकी फसल काफी अच्छी होती है। साथ ही यहां लोग दूध, लौकी, कददू, हरी सब्जी और पैसे भी चढ़ाते हैं। महीने की पूर्णमासी के दौरान पड़ने वाले गुरुवार को यहां श्रद्धालुओं की जबरदस्त भीड़ जुटती है। मस्तराम बाबा के आश्रम में श्रद्धालुओं के साथ ऐसा क्यों किया जाता है, यह तो वही लोग बता सकते हैं। लेकिन मेडिकल साइंस इस तरह की किसी भी इलाज की पक्षधर नहीं है। क्योंकि इस तरह से किसी भी रोगी को ठीक नहीं किया जा सकता।